यूरीड मीडिया- किसानों के रेल रोको आंदोलन का असर दिखाने लगा है। रेलवे का कहना है कि दिल्ली डिवीजन की 42 रेलगाड़ियों की आवाजाही पर प्रभाव पड़ा है. किसानों ने यूपी में मोदी नगर, मुजफ्फरनगर में ट्रेनें रोकीं। हापुड़ के गढ़ मुक्तेश्वर रेलवे स्टेशन पर किसानों ने हंगामा और नारेबाजी की। हरियाणा के बहादुरगढ़ में भी संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने ट्रेनों को रोका। पंजाब के कई जिलों में रेल रोको आंदोलन का असर दिखा है. उत्तर रेलवे का कहना है कि आठ ट्रेनों पर असर पड़ा है। दिल्ली- रोहतक और दिल्ली- अम्बाला रूट को फिलहाल ट्रेनों के लिए बंद किया गया है। इस कारण कई ट्रेनों की आवाजाही पर असर पड़ा है. कई ट्रेनें रद्द भी करनी पड़ी हैं।
दिल्ली डिविजन की डीआरएम डिंपी गर्ग ने कहा कि दोपहर तक 42 ट्रेनों पर असर पड़ा है। ट्रेनों को कम दूरी पर खत्म करने (शॉर्ट टर्मिनेशन), शॉर्ट ओरिजिनेट या रिशेड्यूल किया जाएगा। सबसे ज्यादा असर अंबाला - सोनीपत, पानीपत और जींद और भटिंडा रूट पर पड़ा है। रेलवे प्रॉपर्टी को किसी तरह के नुकसान की अब तक खबर नहीं है। आरपीएफ और GRP की जगह जगह तैनाती की गई है। शाम तक ट्रेनों की आवाजाही पर असर और बढ़ सकता है।
नार्दर्न रेलवे जानकारी के मुताबिक, बरेली से रोहतक जाने वाली नई दिल्ली तक आने वाली (02715) गाड़ी रद्द कर दी गई है। नांदेड़ श्रीगंगानगर तिलकब्रिज (02439 0 पर रोक कर रखी गयी है। फिरोजपुर - फाजिल्का सेक्शन का फिरोजपुर सिटी यार्ड भी प्रभावित हुआ है।
फिरोजपुर - लुधियाना सेक्शन के अजितवाल, फिरोजपुर - फाजिल्का सेक्शन के गुरु हर्षाई और फिरोजपुर - लुधियाना सेक्शन के चौकीमन पर किसानों के प्रदर्शन से ट्रेनों की आवाजाही प्रभावित हुई है। इसको लेकर अब तक 7 ट्रेनों को मंजिल से पहले ही रोक दिया गया है।
केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के विरोध में कई महीनों से आंदोलनरत किसान आज रेल रोको आंदोलन चला रहे हैं। कई स्थानों पर किसान रेल रोक रहे हैं। दिल्ली के पास बहादुरगढ़ में भी किसान ट्रैक पर बैठ गए हैं। भारतीय किसान यूनियन के राकेश टिकैत ने कहा कि ये अलग-अलग ज़िलों में अलग-अलग जगह होगा। पूरे देश में वहां के लोगों को पता रहता है कि हमें कहां ट्रेन रोकनी है। भारत सरकार ने अभी हमसे कोई बात नहीं की है।
केंद्र के तीन कृषि कानूनों का विरोध कर रहे विभिन्न किसान संगठनों के संयुक्त मंच एसकेएम ने एक बयान में कहा कि जब तक लखीमपुर खीरी मामले में न्याय नहीं मिल जाता प्रदर्शन और तेज होगा। एसकेएम ने कहा कि ‘रेल रोको' प्रदर्शन के दौरान सोमवार को पूर्वाह्न 10 बजे से अपराह्न चार बजे तक सभी मार्गों पर छह घंटे के लिए रेल यातायात को रोका जाएगा। बयान में कहा गया, ‘‘गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा को बर्खास्त कर गिरफ्तार करने की मांग को लेकर संयुक्त किसान मोर्चा ने सोमवार राष्ट्रव्यापी रेल रोको कार्यक्रम की घोषणा की है ताकि लखीमपुर खीरी जनसंहार में न्याय मिल सके।'' मोर्चा ने कहा, ‘‘एसकेएम अपने सभी घटकों को 18 अक्टूबर को पूर्वाह्न 10 बजे से अपराह्न चार बजे तक छह घंटे तक रेल रोकने का आह्वान करता है। एसकेएम अपील करता है कि यह शांतिपूर्ण और रेलवे की संपत्ति को बिना नुकसान पहुंचाए किया जाए। '' गौरतलब है कि तीन अक्टूबर को हुई हिंसा में चार किसानों सहित आठ लोगों की मौत हो गई थी।
वहीं भारतीय किसान यूनियन के नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि सभी किसान भाई स्टेशनों के पास जाकर ट्रेनें रोकें। उन्होंने कहा कि तीनों कृषि कानूनों को रद्द कराने, एमएसपी पर फसलों की खरीद की गारंटी का कानून बनवाने और लखीमपुर खीरी हत्याकांड में गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा की गिरफ्तारी की मांग को लेकर रेल रोको आंदोलन बुलाया जा रहा है। इसको सफल बनाने के लिए सभी जगहों पर किसान आगे आएं।
चढ़ूनी ने सरकार को चेतावनी दी है। हरियाणा के रोहतक में आयोजित किसान महापंचायत में भारतीय किसान यूनियन हरियाणा के अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि सहनशीलता की भी एक सीमा होती है, हमारे धैर्य की परीक्षा मत लो। साथ ही उन्होंने किसानों से कहा कि हमें हिंसा नहीं करनी चाहिए। सरकार के पास अभी भी इस मुद्दे को सुलझाने का समय है।
किसानों को संबोधित करते हुए गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा, '' सरकार यह सोच ले कि यह डरते हुए बैठे हैं धरने पर इसके आगे नहीं बढ़ते हैं। सब कुछ करना जानते हैं। 26 जनवरी को देख लिया होगा। बस हम शांति बनाए रखना चाहते हैं।''
साथ ही चढ़ूनी ने हरियाणा सरकार पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार ने कई लोगों के सिर फोड़ दिए और कई लोगों की हड्डियां तोड़ दी। साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार कई सौ लोगों पर मुकदमे बना चुकी है।
दिल्ली डिविजन की डीआरएम डिंपी गर्ग ने कहा कि दोपहर तक 42 ट्रेनों पर असर पड़ा है। ट्रेनों को कम दूरी पर खत्म करने (शॉर्ट टर्मिनेशन), शॉर्ट ओरिजिनेट या रिशेड्यूल किया जाएगा। सबसे ज्यादा असर अंबाला - सोनीपत, पानीपत और जींद और भटिंडा रूट पर पड़ा है। रेलवे प्रॉपर्टी को किसी तरह के नुकसान की अब तक खबर नहीं है। आरपीएफ और GRP की जगह जगह तैनाती की गई है। शाम तक ट्रेनों की आवाजाही पर असर और बढ़ सकता है।
नार्दर्न रेलवे जानकारी के मुताबिक, बरेली से रोहतक जाने वाली नई दिल्ली तक आने वाली (02715) गाड़ी रद्द कर दी गई है। नांदेड़ श्रीगंगानगर तिलकब्रिज (02439 0 पर रोक कर रखी गयी है। फिरोजपुर - फाजिल्का सेक्शन का फिरोजपुर सिटी यार्ड भी प्रभावित हुआ है।
फिरोजपुर - लुधियाना सेक्शन के अजितवाल, फिरोजपुर - फाजिल्का सेक्शन के गुरु हर्षाई और फिरोजपुर - लुधियाना सेक्शन के चौकीमन पर किसानों के प्रदर्शन से ट्रेनों की आवाजाही प्रभावित हुई है। इसको लेकर अब तक 7 ट्रेनों को मंजिल से पहले ही रोक दिया गया है।
केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के विरोध में कई महीनों से आंदोलनरत किसान आज रेल रोको आंदोलन चला रहे हैं। कई स्थानों पर किसान रेल रोक रहे हैं। दिल्ली के पास बहादुरगढ़ में भी किसान ट्रैक पर बैठ गए हैं। भारतीय किसान यूनियन के राकेश टिकैत ने कहा कि ये अलग-अलग ज़िलों में अलग-अलग जगह होगा। पूरे देश में वहां के लोगों को पता रहता है कि हमें कहां ट्रेन रोकनी है। भारत सरकार ने अभी हमसे कोई बात नहीं की है।
केंद्र के तीन कृषि कानूनों का विरोध कर रहे विभिन्न किसान संगठनों के संयुक्त मंच एसकेएम ने एक बयान में कहा कि जब तक लखीमपुर खीरी मामले में न्याय नहीं मिल जाता प्रदर्शन और तेज होगा। एसकेएम ने कहा कि ‘रेल रोको' प्रदर्शन के दौरान सोमवार को पूर्वाह्न 10 बजे से अपराह्न चार बजे तक सभी मार्गों पर छह घंटे के लिए रेल यातायात को रोका जाएगा। बयान में कहा गया, ‘‘गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा को बर्खास्त कर गिरफ्तार करने की मांग को लेकर संयुक्त किसान मोर्चा ने सोमवार राष्ट्रव्यापी रेल रोको कार्यक्रम की घोषणा की है ताकि लखीमपुर खीरी जनसंहार में न्याय मिल सके।'' मोर्चा ने कहा, ‘‘एसकेएम अपने सभी घटकों को 18 अक्टूबर को पूर्वाह्न 10 बजे से अपराह्न चार बजे तक छह घंटे तक रेल रोकने का आह्वान करता है। एसकेएम अपील करता है कि यह शांतिपूर्ण और रेलवे की संपत्ति को बिना नुकसान पहुंचाए किया जाए। '' गौरतलब है कि तीन अक्टूबर को हुई हिंसा में चार किसानों सहित आठ लोगों की मौत हो गई थी।
वहीं भारतीय किसान यूनियन के नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि सभी किसान भाई स्टेशनों के पास जाकर ट्रेनें रोकें। उन्होंने कहा कि तीनों कृषि कानूनों को रद्द कराने, एमएसपी पर फसलों की खरीद की गारंटी का कानून बनवाने और लखीमपुर खीरी हत्याकांड में गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा की गिरफ्तारी की मांग को लेकर रेल रोको आंदोलन बुलाया जा रहा है। इसको सफल बनाने के लिए सभी जगहों पर किसान आगे आएं।
चढ़ूनी ने सरकार को चेतावनी दी है। हरियाणा के रोहतक में आयोजित किसान महापंचायत में भारतीय किसान यूनियन हरियाणा के अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि सहनशीलता की भी एक सीमा होती है, हमारे धैर्य की परीक्षा मत लो। साथ ही उन्होंने किसानों से कहा कि हमें हिंसा नहीं करनी चाहिए। सरकार के पास अभी भी इस मुद्दे को सुलझाने का समय है।
किसानों को संबोधित करते हुए गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा, '' सरकार यह सोच ले कि यह डरते हुए बैठे हैं धरने पर इसके आगे नहीं बढ़ते हैं। सब कुछ करना जानते हैं। 26 जनवरी को देख लिया होगा। बस हम शांति बनाए रखना चाहते हैं।''
साथ ही चढ़ूनी ने हरियाणा सरकार पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार ने कई लोगों के सिर फोड़ दिए और कई लोगों की हड्डियां तोड़ दी। साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार कई सौ लोगों पर मुकदमे बना चुकी है।
18th October, 2021