लखनऊ, यूरिड मीडिया न्यूज। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अब प्रदेश के लोगों को लिवर प्रत्यारोपण जैसी जटिल सर्जरी की सुविधा राजधानी में मिल सकेगी। सरकार का प्रयास है कि सरकारी व निजी संस्थानों में प्रदेश वासियों को सस्ती दर पर चिकित्सा सुविधा उपलब्ध हो। आने वाले समय में उत्तर प्रदेश का ट्रांसप्लांट प्रोग्राम पूरे भारत में सर्वोपरि होगा। अंग प्रत्यारोपण महंगा जरूर है, लेकिन जीवन बेशकीमती है। वह गुरुवार को अपोलोमेडिक्स हॉस्पिटल के लिवर ट्रांसप्लांट प्रोग्राम के उद्घाटन समारोह को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने चिकित्सा व स्वास्थ्य के क्षेत्र में आत्मनिर्भरता के लिए सरकारी व निजी स्वास्थ्य संस्थानों को पीपीपी मॉडल पर कार्य करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि मेडिकल साइंस ने काफी तरक्की की है। अब बाईपास सर्जरी सामान्य सर्जरी की तरह हो रही है। राजधानी में लिवर, गुर्दा प्रत्यारोपण की सुविधा रफ्तार पकड़ रही है। कोरोना से पहले 36 जिलों में एक भी आईसीयू वेंटिलेटर बेड नहीं थे। इस समय 75 जिलों में ये उपलब्ध हैं। अगले शैक्षिक सत्र से 15 नए मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस में दाखिले होंगे। 30 नए मेडिकल कॉलेज स्थापित करने का खाका तैयार है। प्रदेश में दो एम्स खुल गए हैं। यहां मरीजों को इलाज मुहैया कराया जा रहा है अपोलो के एमडी मयंक सोमानी ने बताया कि हम 50 से अधिक किडनी ट्रांसप्लांट कर चुके हैं। जल्द ही हार्ट, लंग, बोनमैरो व टिश्यू ट्रांसप्लांट भी शुरू करेंगे। लिवर के रोगियों के लिए हर गुरुवार को विशेष लिवर क्लिनिक की शुरुआत की है। अस्पताल के संस्थापक चेयरमैन डॉ. प्रताप सी रेड्डी ने कहा कि 1998 में अपोलो हॉस्पिटल ने भारत में 20 माह के शिशु संजय का पहला सफल पीडियाट्रिक लिवर प्रत्यारोपण कर नई शुरुआत की थी।
26th February, 2021